बिहार: जानें क्या होगा अगर टूट गया बिहार का महागठबंधन!

Update: 2017-07-15 08:03 GMT

पटना। बिहार में सियासी संकट गहराता जा रहा है। भ्रष्टाचार के आरोप लगने के बाद जदयू, राजद और कांग्रेस का महागठबंधन खतरे में नजर आ रहा है। जदयू ने साफ कर दिया है कि लालू यादव के बेटे तेजस्वी यादव अपनी सम्पत्ति का स्रोत बताएं या इस्तीफा दे दें। वहीं लालू ने भी कह दिया है कि तेजस्वी किसी कीमत पर इस्तीफा नहीं देंगे, जिसे जो करना है कर ले। इस बीच सवाल उठने लगा है कि यह गठबंधन कितने दिन टिकेगा?


लालू की पार्टी गठबंधन से बाहर होती है तो नीतीश बहुमत कैसे साबित करेंगे? राजद के बगैर जदयू और कांग्रेस बहुमत से दूर हैं। तो क्या नीतीश एक बार फिर एनडीए का हिस्सा बनेंगे?


जानें बिहार विधानसभा का गणित -  

1- बिहार विधानसभा की मौजूदा स्थिति इस तरह है। कुल 243 सीटों में से राजद के पास 80 सीट, जदयू 71, कांग्रेस 27,
 भाजपा 58, सीपीआई 03 तथा निर्दलीय के 04 विधायक हैं।
2- लालू यादव को गठबंधन से बाहर कर दिया जाता है, तो जदयू और कांग्रेस शेष रह जाएंगे। कांग्रेस के
पास 27 विधायक हैं, जबकि जदयू के पास 71। कुल मिलाकर 98 और यह आंकड़ा बहुमत से बहुत दूर है।
3- यदि नीतीश महागठबंधन का साथ छोड़कर फिर से भाजपा और एनडीए के साथ आते हैं तो
कुल सीटें 129 हो जाएंगी जो कि बहुमत से 7 सीट ज्यादा है।
4- इस स्थिति में जदयू की 71 सीटों, भाजपा की 53, एलजेपी और आरएलएसपी
की 2-2 तथा हम पार्टी की 01 सीट मिलाकर सरकार बन सकती है।     

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