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हाथरस: गैंग रेप की शिकार दलित लड़की की मौत, कांग्रेस ने प्रधानमंत्री की 'खामोशी' पर सवाल उठाया, विपक्ष हुआ हमलावर

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने ट्वीट कर कहा कि यूपी के 'वर्ग-विशेष' के जंगलराज ने एक और युवती को मार डाला.

हाथरस: गैंग रेप की शिकार दलित लड़की की मौत, कांग्रेस ने प्रधानमंत्री की खामोशी पर सवाल उठाया, विपक्ष हुआ हमलावर
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नई दिल्ली: कांग्रेस ने उत्तर प्रदेश के हाथरस जिले में सामूहिक दुष्कर्म की पीड़ित दलित लड़की की मौत के बाद मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा की महिला नेताओं की 'खामोशी' को लेकर सवाल किया और आरोप लगाया कि योगी आदित्यनाथ सरकार में यह प्रदेश 'अपराध का गढ़' बन गया है. पार्टी ने यह भी कहा कि इस मामले में त्वरित न्याय सुनिश्चित होना चाहिए और शुरुआत में घटना को 'आधिकारिक रूप से' फर्जी खबर बताने के लिए भाजपा सरकार को माफी मांगनी चाहिए.

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने ट्वीट किया, ''उप्र के 'वर्ग-विशेष' के जंगलराज ने एक और युवती को मार डाला. सरकार ने कहा कि ये फ़ेक न्यूज़ है और पीड़िता को मरने के लिए छोड़ दिया. ना तो ये दुर्भाग्यपूर्ण घटना फ़ेक थी, ना ही पीड़िता की मौत और ना ही सरकार की बेरहमी.'' कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा ने इस घटना को लेकर राज्य सरकार पर निशाना साधा और दावा किया कि प्रदेश में कानून-व्यवस्था हद से ज्यादा बिगड़ चुकी है व महिलाओं की सुरक्षा का नाम-ओ-निशान नहीं है. उन्होंने यह भी कहा कि महिलाओं की सुरक्षा के प्रति मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की जवाबदेही है.

कांग्रेस के नेताओं और कार्यकर्ताओं ने इस घटना के विरोध में दिल्ली में विजय चौक पर प्रदर्शन किया. पार्टी सूत्रों का कहना है कि प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए पुलिस ने कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी एल पूनिया और दिल्ली प्रद्रेश महिला कांग्रेस की अध्यक्ष अमृता धवन तथा कई अन्य नेताओं एवं कार्यकर्ताओं को हिरासत में ले लिया.

अखिल भारतीय महिला कांग्रेस की अध्यक्ष सुष्मिता देव ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर कहा कि प्रदेश की बदतर होती कानून-व्यवस्था के लिए मुख्यमंत्री को इस्तीफा देना चाहिए और राज्य में राष्ट्रपति शासन लगना चाहिए. कांग्रेस के मुताबिक, शाम में पार्टी के कई नेताओं और कार्यकर्ताओं ने सफदरजंग अस्पताल परिसर में कैंडल मार्च का आयोजन किया और पीड़िता के लिए न्याय की मांग की. गौरतलब है कि हाथरस में सामूहिक दुष्कर्म की शिकार 19 वर्षीय दलित लड़की की मंगलवार सुबह यहां सफदरजंग अस्पताल में मौत हो गई.

हाथरस जिले के चंदपा थाना क्षेत्र स्थित एक गांव में 14 सितंबर को लड़की के साथ कथित तौर पर सामूहिक दुष्कर्म की वारदात हुई थी. पुलिस ने इस मामले में चार आरोपियों को गिरफ्तार किया है.

हाथरस जिले में गत 14 सितम्बर को कथित रूप से सामूहिक बलात्कार और गला दबाये जाने की घटना की शिकार हुई 19 वर्षीय दलित लड़की ने मंगलवार सुबह दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में दम तोड़ दिया. विपक्ष ने इस घटना को लेकर राज्य की भाजपा सरकार पर जमकर हमले करते हुए प्रकरण की सुनवाई फास्ट ट्रैक अदालत में करवाने और पीड़ित परिजन को 50 लाख रुपये देने की मांग की है. जिला प्रशासन ने परिजन को 10 लाख रुपये की सहायता की घोषणा की है. उसका कहना है कि मेडिकल जांच में लड़की से बलात्कार की पुष्टि नहीं हुई है.

हाथरस के पुलिस अधीक्षक विक्रांत वीर ने मंगलवार को 'भाषा' को बताया कि लड़की की मंगलवार तड़के करीब तीन बजे दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में मौत हो गयी. उन्होंने कहा कि इस घटना में गिरफ्तार चारों आरोपियों पर दर्ज मुकदमे में अब हत्या की धारा भी जोड़ी जाएगी. लड़की घटना के बाद से अलीगढ़ के जेएन मेडिकल कॉलेज में भर्ती थी. सोमवार सुबह उसकी हालत गंभीर होने के कारण इलाज के लिये दिल्ली भेजा गया था. मेडिकल कॉलेज के डॉक्टरों के अनुसार लड़की जीवन रक्षक प्रणाली पर थी.

पुलिस अधीक्षक ने बताया कि जबरदस्ती करने के दौरान लड़की का गला भी दबाया गया था जिससे उसकी जुबान बाहर आकर कट गयी थी. अलीगढ़ के जेएन मेडिकल कॉलेज के प्रवक्ता ने बताया था कि लड़की की हालत काफी गंभीर थी. उसके दोनों पैर और एक हाथ पूरी तरह काम नहीं कर रहा था. हाथरस के जिलाधिकारी प्रवीण कुमार लक्षकार ने एक बयान में बताया कि प्रशासन ने मृतका के परिवार को दस लाख रूपये देने की घोषणा की है. उन्होंने बताया कि युवती की जांच में डॉक्टरों ने उससे बलात्कार न होने की पुष्टि की है. आज रात तक शव के हाथरस आने की उम्मीद है. जिले में एहतियात के तौर पर जगह-जगह पीएसी तैनात कर दी गयी है.

कांग्रेस प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने मांग की कि इस घटना की उच्च न्यायालय के किसी सेवारत न्यायाधीश की अगुवाई में समिति बनाकर जांच करायी जाए. उन्होंने कहा कि पार्टी यह भी मांग करती है कि लड़की के परिजन को 50 लाख रुपये की सहायता और परिवार के एक व्यक्ति को सरकारी नौकरी दी जाए. साथ ही इस मामले की सुनवाई फास्ट ट्रैक अदालत में करवायी जाए.

समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी ट्वीट कर कहा 'हाथरस में सामूहिक दुष्कर्म एवं दरिंदगी की शिकार एक बेबस दलित बेटी ने आख़िरकार दम तोड़ दिया. नम आंखों से पु्ष्पांजलि!आज की असंवेदनशील सत्ता से अब कोई उम्मीद नहीं बची.'

बसपा अध्यक्ष मायावती ने ट्वीट कर कहा 'यूपी के हाथरस में सामूहिक दुष्कर्म के बाद दलित पीड़िता की आज हुई मौत की खबर अति दुखद:. सरकार पीड़ित परिवार की हरसंभव सहायता करे व फास्ट ट्रैक अदालत में मुकदमा चलाकर अपराधियों को जल्द सजा सुनिश्चित करें, बसपा की यह मांग है.'

आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद एवं प्रवक्ता संजय सिंह ने लखनऊ में प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि हाथरस कांड की फास्ट ट्रैक अदालत से छह माह के अंदर फैसला करवाया जाए और दोषियों को फांसी दी जाए. पीड़ित परिवार को 50 लाख रुपये और सुरक्षा दी जाए.

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